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Manoj Jha: RJD के राज्यसभा सांसद मनोज झा के एक कविता पाठ पर विवाद हो रहा है. उन्होंने हाल ही में राज्यसभा में ‘ठाकुर’ कविता सुनाई थी. इस विवाद में कई नेता कूद पड़े हैं. अब इस विवाद में लालू के लाल तेज प्रताप यादव भी कूद पड़े हैं. उन्होंने ठाकुर कविता हो रहे विवाद पर काफी बड़ा बयान दिया है.
तेज प्रताप ने कहा कि उन्हें जाति से कुछ लेना देना नहीं है. ठाकुर हो या ब्राम्हाण सभी इंसान हैं. यादव ने कहा कि वो केवल एक ठाकुर को जानते हैं जो वृंदावन में रहते हैं.उन्होंने बीजेपी को लेकर भी तंज किया. उन्होंने कहा कि यह आरएसएस की उपज है और आरएसएस की उपज नाथू राम गोड्से से है.
आपको बता दें कि तेज प्रताप यादव बिहार सरकार में मंत्री हैं. उन्होंने उन आरोपों का जवाब दिया, जिसमें बीजेपी नेता लालू यादव के इशारे पर ठाकुरों को बदनाम करने का आरोप लगा रहे हैं. उन्होंने कहा कि ‘यह तो नरेंद्र मोदी से पूछ लीजिए. लालू जी के इशारे पर ये सब नहीं होता है.” इसके साथ ही उन्होंने बीजेपी को निशाने पर लिया और कहा कि ‘बीजेपी तो आरएसएस की उपज है, और आरएसएस नाथूराम गोड्से की उपज है, जिसने महात्मा गांधी की हत्या की थी.
तेजप्रताप लालू यादव के बड़े बेटे हैं. कहते हैं कि ‘बीजेपी हत्यारों की पार्टी है. हम तो खुलेआम बोलते हैं. मैं किसी से डरता नहीं हूं. हम भगवान श्री कृष्ण के भक्त हैं. ठाकुर और ब्राम्हाण हर कोई इंसान है. हर किसी को इंसानियत देखना चाहिए. कौन क्या जाति है, उससे हमको कोई मतलब नहीं है. अपने आप में इंसान धर्म सबसे बड़ा धर्म होता है.’
राजद सांसद मनोज झा की ‘ठाकुर’ कविता का जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह ने बचाव किया है. ललन सिंह ने कहा की ना तो यह मनोज झा की राय है, ना उनका भाषण है, ना उनके वक्तव्य हैं, बल्कि उन्होंने किसी और की लिखी कविता का पाठ संसद में किया, जिसमें उन्होंने जो आशय है वह स्पष्ट किया था.
कुछ लोग उनकी इस कविता को लेकर भ्रम पैदा कर रहे हैं. हालांकि जदयू के कुछ नेताओं ने मनोज झा की कविता पर कड़ी आपत्ति जताई थी. संजय सिंह ने तो कहा था कि ठाकुर (गर्दन) काटना भी जानता है और गर्दन कटाना भी. जबकि जदयू के प्रवक्ता सुनील सिंह ने कहा था कि मैथिल ब्राह्मण करैत सांप से भी ज्यादा खतरनाक हैं.