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SONIA GANDHI @ED: नेशनल हेराल्ड अखबार से जुड़े कथित मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में ईडी ने आज 26 जुलाई को कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को पूछताछ के लिए बुलाया है। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के सामने पेश होने के लिए दूसरी बार सोनिया को बुलाया गया है।
SONIA GANDHI @ED: बता दें कि ईडी कांग्रेस के अखबार ‘नेशनल हेरॉल्ड’ का मालिकाना हक रखने वाली यंग इंडियन प्राइवेट लिमिटेड में कथित वित्तीय अनियमितताओं की जांच कर रही है। इस मामले में राहुल गांधी से भी पूछताछ हो चुकी है।
SONIA GANDHI @ED: नेशनल हेराल्ड अखबार से जुड़े कथित मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को 26 जुलाई को दूसरे दौर की पूछताछ के लिए प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के सामने पेश होने के लिए बुलाया गया है।
SONIA GANDHI @ED: अधिकारियों ने कहा कि ईडी के समक्ष अपना बयान दर्ज कराने के लिए सोनिया गांधी 26 जुलाई को दोपहर बाद उपस्थित हो सकती हैं। वहीं कांग्रेस के प्रदर्शन के मद्देनजर राजघाट के आसपास धारा 144 लगा दी गई है।
इससे पहले ईडी ने उन्हें सोमवार 25 जुलाई को तलब किया था, लेकिन बाद में तारीख एक दिन के लिए बढ़ा दी गई थी। 75 साल की सोनिया गांधी से इस मामले में 21 जुलाई को पहले दिन दो घंटे से अधिक समय तक पूछताछ की गई थी, जहां उन्होंने एजेंसी के 28 सवालों के जवाब दिए थे। ईडी कांग्रेस के अखबार ‘नेशनल हेरॉल्ड’ का मालिकाना हक रखने वाली यंग इंडियन प्राइवेट लिमिटेड में कथित वित्तीय अनियमितताओं की जांच कर रही है।
SONIA GANDHI @ED: सोनिया के साथ प्रियंका गांधी वाड्रा और राहुल गांधी के ईडी कार्यालय में जाने की संभावना जताई जा रही है। दवा या किसी अन्य जरूरत के लिए प्रियंका उनके साथ रह सकती हैं। ईडी ने पिछले साल के अंत में धन शोधन रोकथाम कानून के आपराधिक प्रावधानों के तहत एक नया मामला दर्ज करने के बाद गांधी परिवार से पूछताछ शुरू की। सोनिया और राहुल गांधी यंग इंडियन के प्रवर्तकों और बहुलांश शेयरधारकों में से हैं। अपने बेटे राहुल गांधी की तरह कांग्रेस अध्यक्ष के पास भी 38 फीसदी हिस्सेदारी है।
कांग्रेस ने दावा किया कि इस बात में कोई दम नहीं है कि जब गुजरात के मुख्यमंत्री रहते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को विशेष जांच दल (एसआईटी) के समक्ष बुलाया गया था, तब बीजेपी और मोदी ने कोई विरोध नहीं किया था। पार्टी प्रवक्ता शक्ति सिंह गोहिल ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘सोशल मीडिया और कुछ चुनिंदा मीडिया के जरिये यह बताने का प्रयास हुआ है कि मोदी जी को भी एसआईटी ने बुलाया था और उस वक्त वो शांति से एसआईटी के सामने चले गए थे। यह सरासर झूठ है कि मोदी जी को जब एसआईटी के सामने बुलाया था तब, बीजेपी और मोदी जी ने कोई भी विरोध नहीं किया था।’’
उन्होंने दावा किया, ‘‘जब मोदी जी को एसआईटी के सामने बुलाया गया तब भाजपा ने पूरे गुजरात में कांग्रेस और संप्रग सरकार एवं राज्य के राज्यपाल के खिलाफ बहुत बुरे-बुरे नारे दीवारों पर लिखवाये थे और कहीं कहीं पर जुलूस निकाल कर बीजेपी के लोगों ने नारेबाजी की थी।’’